प्रश्न. 1. चंपा ने ऐसा क्यों कहा कि कलकत्ता पर बजर गिरे?
उत्तर: चंपा नहीं चाहती थी कि उसका पति उसे छोड़कर कमाने के लिए कलकत्ता जाए। कलकत्ता शहर परिवारों को तोड़ने वाला है। यह प्रतीक है-शोषण का। इस शोषण से आम व्यक्ति का जीवन नष्ट हो जाता है। चंपा अपने पति से अलग नहीं होना चाहती। अत: वह कलकत्ता का विनाश चाहती है ताकि उसका परिवार नहीं टूटे।
प्रश्न. 2. चंपा को इस पर क्यों विश्वास नहीं होता कि गांधी बाबा ने पढ़ने-लिखने की बात कही होगी?
उत्तर: चंपा को पहले कवि द्वारा ही यह ज्ञान दिया गया था कि गांधी बाबा बहुत अच्छे हैं। दूसरी तरफ कवि का दिन-भर लिखते-पढ़ते रहना चंपा को अजीब-सा काम लगता है या यह भी कहा जा सकता है कि उसे बुरा लगता है, बेकार काम लगता है। इसीलिए उसे विश्वास नहीं होता कि गांधी बाबा जैसे अच्छे इंसान पढ़ने-लिखने की बात कह सकते हैं।
प्रश्न. 3. कवि ने चंपा की किन विशेषताओं का उल्लेख किया है?
उत्तर: कवि ने चंपा की निम्नलिखित विशेषताओं का उल्लेख किया है-
वह निरक्षर है। उसे अक्षर मात्र काले चिहन लगते हैं।
वह सदैव निरक्षर रहना चाहती है।
वह शरारती स्वभाव की है। वह कवि के कागज, पेन छिपा देती है।
वह भोली है। वह कवि को पढ़ते हुए हैरानी से देखती रहती है।
वह स्पष्ट वादिनी है। वह अपनी बात को घुमा-फिराकर नहीं कहती।
वह विद्रोही स्वभाव की है। उसे पता है कि शिक्षित व्यक्ति अपने परिवार को छोड़कर दूसरे शहर चला जाता है। अत: वह कहती है-कलकत्ता पर आपदा आए।
वह मेहनती है। वह प्रतिदिन दुधारू पशुओं को चराकर लाती है।
चंपा में परिवार के साथ मिलकर रहने की भावना है। वह परिवार को तोड़ना नहीं चाहती।
प्रश्न. 4. आपके विचार में चंपा ने ऐसा क्यों कहा होगा कि मैं तो नहीं पढ़ेगी?
उत्तर: मेरे विचार में चंपा एक ग्रामीण लड़की है जो दिन-भर प्रकृति की गोद में पशु चराने का काम करती है। स्वभाव से नटखट है और कवि को दिन-भर बैठकर लिखते-पढ़ते देखती है। उसे यह बुरा लगता है कि दिन-भर बैठे रहो। वह सोचती होगी कि पढ़ना-लिखना स्वच्छंदता में बाधक है। दूसरे, पढ़े-लिखे लोग अपनों को छोड़कर कलकत्ता चले जाते थे, इसलिए वह पढ़ना नहीं चाहती।
कविता के आस-पास
प्रश्न. 1. यदि चंपा पढ़ी-लिखी होती, तो कवि से कैसे बातें करती?
उत्तर: यदि चंपा पढ़ी-लिखी होती तो वह कवि से सहजता से बात नहीं करती। वह हर बात को घुमा-फिराकर कहती। उसमें बनावटीपन होता। वह विद्रोह का स्वर भी नहीं दिखाती। इसके अलावा, वह कवि की योग्यता का सम्मान करती।
प्रश्न. 2. इस कविता में पूर्वी प्रदेशों की स्त्रियों की किस विडंबनात्मक स्थिति का वर्णन हुआ है?
उत्तर: पूर्वी प्रदेश में स्त्रियों को ऐसा वातावरण ही नहीं मिलता कि वे पढ़ाई-लिखाई के सही महत्त्व को समझ सकें। वे कूप मंडूक की भाँति अपने कामों में ही लगी रहती हैं। वे बाहरी दुनिया से बेखबर हैं। उनकी समझ और सोच का विकास नहीं हो पाता। कई बार अपनी इस कमजोरी के कारण उन्हें समाज और परिवार में वह मान-सम्मान नहीं मिल पाता जो मिलना चाहिए।
प्रश्न. 3. संदेश ग्रहण करने और भेजने में असमर्थ होने पर एक अनपढ़ लड़की को किस वेदना और विपत्ति को भोगना पड़ता है, अपनी कल्पना से लिखिए
उत्तर: संदेश ग्रहण करने और भेजने में असमर्थ होने पर एक अनपढ़ लड़की को असहनीय वेदना सहनी पड़ती है। वह विरह की आग में झुलसती है। वह किसी को अपने मन की प्रेम की बातें नहीं बता सकती। उसे अकेलेपन की पीड़ा सहनी पड़ती है। पति का पत्र दूसरे से पढ़वाने पर लोकलाज का डर होता है।
प्रश्न. 4. त्रिलोचन पर एन.सी.ई.आर.टी. द्वारा बनाई गई फ़िल्म देखिए।
उत्तर: यह फ़िल्म एन.सी.ई.आर.टी. के पुस्तकालय से लेकर देखी जा सकती है।